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शुक्रवार, 13 दिसंबर 2019

नये साल में दिखेगा नदी का नया स्वरूप खुशियों की दास्ताँ बदल रही सरस्वती नदी की सूरत

इन्दौर | 13-दिसम्बर-2019
 



 

 

 


   

 

     इंदौर में नये साल में जनता को सरस्वती नदी का अलग ही रूप देखने को मिलेगा।  प्रतीक सेतु के नीचे  बन रहा सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट जनवरी तक तैयार हो जायेगा। इसमें इलेक्ट्रो मेकेनिकल काम चल रहा है, जो बीस दिन में पूर्ण हो जायेगा। इस प्लांट का पानी सरस्वती नदी में छोड़ा जायेगा। यहां स्टॉप डैम पर पानी रोककर फव्वारा और गार्डन तैयार किया  जा रहा है। यहां लेंड स्केपिंग कर डेकेरोटिव लाईट लगाई जायेगी। इस पानी को अमितेश नगर के पास हनुमान मंदिर के पहले रोका जायेगा। गुरूद्वारे के ठीक सामने हिस्से को खूबसूरती से सजाया जा रहा है। निगम अपर आयुक्त श्री संदीप सोनी ने बताया कि इस गार्डन के पास नदी में पानी इतना साफ रहेगा कि लोग इसमें पैर डालकर बैठ सकेंगे।


होगा शहर का पहला एसटीपी

      उल्लेखनीय है अमितेश नगर के पास जहां गंदा पानी नदी से निकलता था वहां से एक ‍ किलो मीटर की दूरी पर यह सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट से ट्रीटेड वॉटर आयेगा। यह शहर का पहला  सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट होगा। इंदौर  नगर निगम इस तरह के पाँच और सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट बना रहा है, जो मार्च तक पूरे होंगे।  प्रतीक सेतु के बाद फरवरी माह में बिजलपुर, मार्च में शेखर नगर, पिपल्याहाना, राधास्वामी सतसंग व्यास, नहर भंडारा और चिड़याघर के सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट तैयार हो जायेंगे।


433 आउट फॉल्स होंगे बंद

      नदियों को साफ करने के लिये उनमें मिलने वाले ड्रेनेज के पानी को बंद करने के लिये 433 आउट फॉल्स बंद किये जायेंगे। इनमें  से 133 को निगम बंद कर चूका है। बाकी को जनवरी 2020 तक बंद करने का टारगेट है। इससे नदियों में दुर्गंध वाला पानी आना बंद हो जायेगा।




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